दीपक बेंजवाल / देहरादून दस्तक पहाड न्यूज - गाँव शब्द आते ही जेहन में एक अपनापन समाँ जाता है। अब इस अपनेपन को और भी खूबसूरती से महसूस करने के लिए उत्तराखंड की पुष्कर धामी सरकार ने "गांव में कैबिनेट, गांव ही एजेंडा " का नया निर्देश जारी किया है। इसमें मुख्यमंत्री ने कहा है कि राज्य के समग्र विकास के लिए गांवों के विकास पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। गांवों के विकास के लिए किसी गांव में एक कैबिनेट बैठक भी आयोजित की जाएगी, जिसमें गांवों के विकास से संबंधित प्रस्ताव होंगे। मुख्यमंत्री ने

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कहा कि इन कार्यक्रमों में प्रवासी लोगों को भी प्रतिभाग करने के लिए विशेष रूप से प्रेरित किया जाए साथ ही उच्चाधिकारी भी इनमें प्रतिभाग करें। ग्राम पंचायतों का सुनियोजित विकास हो, इसके लिए चौपाल लगाई जाए। उन्होंने कहा कि स्थानीय ग्रामीणों द्वारा इन चौपालों में दिये जाने वाले सुझावों को शीर्ष प्राथमिकता देते हुए गांवों के विकास की कार्य योजना तैयार की जाए। राज्य के समग्र विकास के लिए गांवों के विकास पर विशेष ध्यान दिया जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि हर गांव के लिए मास्टर प्लान बनाया जाएगा। अल्पकालिक एवं दीर्घकालिक लक्ष्य तय किए जाएंगे। सरकार की नई योजनाओं की आमजन को जानकारी हो, इसके लिए गांवों में योजनाओं की जानकारी के लिए बोर्ड लगाए जाएं। हमारी पहली प्राथमिकता इन गांवों के विकास की होगी। हमारे गांवों में धार्मिक, सांस्कृतिक, ऐतिहासिक आधार पर कुछ दिवस विशेष महत्व के होते हैं।मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि गांवों में इन विशेष दिवसों का चयन कर उत्साह के साथ कार्यक्रम आयोजित किए जाएं। ग्राम सभा का स्थापना दिवस उत्सव के रूप में मनाया जाएगा। इनमें उन गांवों के बाहर रहने वाले प्रवासी लोगों को प्रतिभाग करने के लिए विशेष रूप से प्रेरित किया जाए, उच्चाधिकारी भी इनमें प्रतिभाग करें। सीएम ने कहा कि ग्राम पंचायतों का सुनियोजित विकास हो, इसके लिए चौपाल लगाई जाएं। चौपाल में जनप्रतिनिधियों को भी आमंत्रित किया जाए और अधिकारी भी चौपालों में प्रतिभाग करें। इसके लिए ग्राम सभावार रोस्टर बनाया जाए। स्थानीय ग्रामीण इन चौपालों में दिए जाने वाले सुझावों को शीर्ष प्राथमिकता देते हुए गांवों के विकास की कार्ययोजना तैयार करें। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि गांवों में स्वच्छता के लिए ‘मुख्यमंत्री पर्यावरण मित्र’ योजना शुरू की जाएगी। योजना के तहत प्रदेश के सभी 7700 गांवों में एक-एक पर्यावरण मित्र की तैनाती की जाएगी। इसके अलावा गांव में कैबिनेट और मुख्यमंत्री चौपाल की शुरुआत की जाएगी। वह खुद किसी गांव में जाकर चौपाल में शामिल होंगे और रात्रि विश्राम करेंगे। सचिवालय में पंचायतीराज विभाग की समीक्षा में मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखंड के ऐसे गांव जो प्रथम (सीमांत) गांव हैं, उनके विकास के लिए ‘मुख्यमंत्री प्रथम ग्राम समेकित विकास योजना’ शुरू की जाएगी। कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने माणा में आयोजित कार्यक्रम में सीमाओं पर स्थित गांवों को अंतिम गांव की बजाय प्रथम गांव कहा था। ये गांव देश के प्रथम गांव के साथ प्रहरी भी हैं। बैठक में कैबिनेट मंत्री श्री सतपाल महाराज, अपर मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी, सचिव श्री नितेश झा, निदेशक पंचायतीराज श्री बंशीधर तिवारी, अपर सचिव श्री ओंकार सिंह एवं पंचायतीराज विभाग के अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।