बधाई उत्तराखंड: सीएम धामी ने फूलदेई को किया बालपर्व घोषित, रंग लाई एडी महावीर बिष्ट की पहल
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16/03/20235:03 pm
दीपक बेंजवाल। अगस्त्यमुनि
दस्तक पहाड न्यूज- उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरुवार को भराड़ीसैंण स्थित सीएम आवास की देहरियों पर क्षेत्र के बच्चों ने पांरपरिक गीतों के साथ रंग-बिरंगे फूल बिखेरकर फूलदेई मनाई। सीएम धामी ने इस अवसर पर सभी बच्चों को फूलदेई के पावन पर्व की शुभकामनाएं दीं।
सीएम धामी ने कहा कि देवभूमि उत्तराखंड में मनाया जाने वाला लोकपर्व ‘फूलदेई ’ हमारी संस्कृति को उजागर करता है। साथ ही यह पर्व पहाड़ की परंपराओं को भी कायम रखे हुए है। सीएम पुष्कर सिंह धामी ने इस अवसर पर कहा कि किसी भी राज्य की संस्कृति एवं परंपराओं की पहचान में लोक पर्वों की अहम भूमिका होती है। हमें अपने लोक पर्वों एवं लोक परम्पराओं को आगे बढ़ाने की दिशा में लगातार प्रयास करने होंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि बच्चों को अपनी लोक संस्कृति और लोक पंरपराओं से जोड़े रखने के लिए लोक पर्व फूलदेई को आने वाले समय में संस्थागत तरीके से बाल पर्व के रूप में और भी बड़े स्तर पर हर साल मनाया जाएगा।
सीएम धामी ने शेयर किया वीडियो
सीएम धामी ने इस पर्व का एक वीडियो भी अपने अधिकारिक फेसबुक पेज पर शेयर किया है जिसमें बच्चे पांरपरिक मंगल गीत गाते हुए दिख रहे हैं। ये सभी बच्चे उत्तराखंड की पारंपरिक वेश-भूषा पहने हुए हैं। सीएम धामी भी इनके बीच खड़े हैं और इन गीतों का आनंद ले रहे हैं। इस वीडियो को शेयर करते हुए उन्होने कहा कि ‘आज भराड़ीसैंण स्थित मुख्यमंत्री आवास में बच्चों के साथ देवभूमि उत्तराखण्ड का लोक पर्व फूलदेई मनाया। इस अवसर पर बच्चों ने पारम्परिक गीतों का गायन करते हुए रंग-बिरंगे पुष्पों की वर्षा भी की। सभी बच्चों को आशीर्वाद देते हुए उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की।
रंग लाई एडी महावीर बिष्ट की पहल
गढ़वाल मण्डल में माध्यमिक शिक्षा के अपर निदेशक महावीर सिंह बिष्ट लंबे समय से फूलदेई को लेकर अभियान चला रहे थे। बच्चों को प्रेरित करने के लिए उन्होंने गढ़वाल मण्डल के समस्त राजकीय, अशासकीय,सहायता प्राप्त, निजी शिक्षण संस्थाओं के प्रधानाचार्य, प्रधानाध्यापकों पत्र लिखकर फूलदेई पर्व मनाने के आदेश निर्गत किए थे। जिसके बाद गढ़वाल मण्डल के अनेक विद्यालयों में फूलदेई हर्षोल्लास के साथ मनाई गई। इस बार भी गैरसैंण सत्र में बच्चों को प्रेरित करने के पीछे उनकी ही मुहिम रंग लाई। यह समस्त उत्तराखंड के लिए गौरव का विषय है कि उनके लोकपर्व को अब राजकीय बालपर्व के रूप में मान्यता मिल गई है।
अहम है दस्तक का फूलदेई महोत्सव
रूद्रप्रयाग जनपद में वर्ष 2009 से दस्तक पहाड परिवार निरन्तर फूलदेई महोत्सव का प्रतियोगिता रूप में वृहद और भव्य आयोजन कर रहा है। राज्य में यह अपनी तरह का अनूठा आयोजन है जिसमें एक साथ सैकड़ों की संख्या में गाँवों के फुलारी बच्चे एकत्रित होते है। 10 टीमों से शुरू हुई यह मुहिम आज सैंकड़ों बच्चों तक पहुँच गई है। वर्ष 2022 में माध्यमिक शिक्षा अपर निदेशक महावीर सिंह बिष्ट दस्तक द्वारा आयोजित कार्यक्रम में शामिल हुए थे और इस आयोजन की प्रशंसा की थी।
आप सादर आमंत्रित है
दस्तक पहाड परिवार निरन्तर फूलदेई को संरक्षित करने का प्रयास कर रहा था, बालपर्व घोषित होने से दस्तक की मुहिम को भी मान्यता मिली है।
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दीपक बेंजवाल। अगस्त्यमुनि
दस्तक पहाड न्यूज- उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरुवार को भराड़ीसैंण स्थित सीएम आवास की देहरियों पर क्षेत्र के बच्चों ने पांरपरिक
गीतों के साथ रंग-बिरंगे फूल बिखेरकर फूलदेई मनाई। सीएम धामी ने इस अवसर पर सभी बच्चों को फूलदेई के पावन पर्व की शुभकामनाएं दीं।
सीएम धामी ने कहा कि देवभूमि उत्तराखंड में मनाया जाने वाला लोकपर्व ‘फूलदेई ’ हमारी संस्कृति को उजागर करता है। साथ ही यह पर्व पहाड़ की परंपराओं को भी कायम
रखे हुए है। सीएम पुष्कर सिंह धामी ने इस अवसर पर कहा कि किसी भी राज्य की संस्कृति एवं परंपराओं की पहचान में लोक पर्वों की अहम भूमिका होती है। हमें अपने लोक
पर्वों एवं लोक परम्पराओं को आगे बढ़ाने की दिशा में लगातार प्रयास करने होंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि बच्चों को अपनी लोक संस्कृति और लोक पंरपराओं से जोड़े
रखने के लिए लोक पर्व फूलदेई को आने वाले समय में संस्थागत तरीके से बाल पर्व के रूप में और भी बड़े स्तर पर हर साल मनाया जाएगा।
सीएम धामी ने शेयर किया वीडियो
सीएम धामी ने इस पर्व का एक वीडियो भी अपने अधिकारिक फेसबुक पेज पर शेयर किया है जिसमें बच्चे पांरपरिक मंगल गीत गाते हुए दिख रहे हैं। ये सभी बच्चे उत्तराखंड
की पारंपरिक वेश-भूषा पहने हुए हैं। सीएम धामी भी इनके बीच खड़े हैं और इन गीतों का आनंद ले रहे हैं। इस वीडियो को शेयर करते हुए उन्होने कहा कि 'आज भराड़ीसैंण
स्थित मुख्यमंत्री आवास में बच्चों के साथ देवभूमि उत्तराखण्ड का लोक पर्व फूलदेई मनाया। इस अवसर पर बच्चों ने पारम्परिक गीतों का गायन करते हुए रंग-बिरंगे
पुष्पों की वर्षा भी की। सभी बच्चों को आशीर्वाद देते हुए उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की।
रंग लाई एडी महावीर बिष्ट की पहल
गढ़वाल मण्डल में माध्यमिक शिक्षा के अपर निदेशक महावीर सिंह बिष्ट लंबे समय से फूलदेई को लेकर अभियान चला रहे थे। बच्चों को प्रेरित करने के लिए उन्होंने
गढ़वाल मण्डल के समस्त राजकीय, अशासकीय,सहायता प्राप्त, निजी शिक्षण संस्थाओं के प्रधानाचार्य, प्रधानाध्यापकों पत्र लिखकर फूलदेई पर्व मनाने के आदेश
निर्गत किए थे। जिसके बाद गढ़वाल मण्डल के अनेक विद्यालयों में फूलदेई हर्षोल्लास के साथ मनाई गई। इस बार भी गैरसैंण सत्र में बच्चों को प्रेरित करने के पीछे
उनकी ही मुहिम रंग लाई। यह समस्त उत्तराखंड के लिए गौरव का विषय है कि उनके लोकपर्व को अब राजकीय बालपर्व के रूप में मान्यता मिल गई है।
अहम है दस्तक का फूलदेई महोत्सव
रूद्रप्रयाग जनपद में वर्ष 2009 से दस्तक पहाड परिवार निरन्तर फूलदेई महोत्सव का प्रतियोगिता रूप में वृहद और भव्य आयोजन कर रहा है। राज्य में यह अपनी तरह का
अनूठा आयोजन है जिसमें एक साथ सैकड़ों की संख्या में गाँवों के फुलारी बच्चे एकत्रित होते है। 10 टीमों से शुरू हुई यह मुहिम आज सैंकड़ों बच्चों तक पहुँच गई
है। वर्ष 2022 में माध्यमिक शिक्षा अपर निदेशक महावीर सिंह बिष्ट दस्तक द्वारा आयोजित कार्यक्रम में शामिल हुए थे और इस आयोजन की प्रशंसा की थी।
[caption id="attachment_30668" align="aligncenter" width="1131"] आप सादर आमंत्रित है[/caption]
दस्तक पहाड परिवार निरन्तर फूलदेई को संरक्षित करने का प्रयास कर रहा था, बालपर्व घोषित होने से दस्तक की मुहिम को भी मान्यता मिली है।