दीपक बेंजवाल  / गौंडार  दस्तक पहाड न्यूज। रविवार रात मद्महेश्वर धाम अंतिम गाँव गौंडार के समीप बणतोली में मधुगंगा ने मद्महेश्वर धाम जाने वाले मुख्य पुल को बहा दिया था, जिस कारण

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वहाँ ढाई सौ से अधिक तीर्थयात्री और स्थानीय नागरिक फंस गए है। पुल बहने की सूचना पर अधिकांश तीर्थयात्री मद्महेश्वर धाम में ही रूककर रास्ता खुलने का इंतजार कर रहे है। हालांकि प्रशासन द्वारा एनडीआरएफ, एसडीआरएफ की टीमों यहाँ भेजी गई है लेकिन घाटी में लगातार हो रही बारिश से मधुगंगा और उसकी सहायक मार्कण्डेय नदी का जलस्तर बढ़ा रहा है, जिससे वैकल्पिक रास्ता बनाने में रेसक्यू टीमों को कठिनाई हो रही है।   तिलवाड़ा के सामाजिक कार्यकर्ता हैप्पी असवाल ने बताया कि धाम में इस वक्त ढाई सौ से जादा लोग फंसे है, जिनमें से तिलवाड़ा क्षेत्र के तीन युवा कैलाश पुरी, आशीष नेगी, दिव्याशु कंडारी भी शामिल है। दस्तक टीम द्वारा जब इन युवाओं से वहाँ की मौजूदा स्थिति के बारे में पूछने पर पता लगा कि वहा सभी अपने खर्चे पर ही रह रहे है, प्रशासन द्वारा उनके रहने खाने के लिए कोई मदद नही भेजी गई है। यहाँ फंसे यात्रियों में 2 गर्भवती महिलाए है और एक बुजुर्ग का पाँव फ्रेक्चर हो रखा है। जादा संख्या होने के कारण कुछ दिनों बाद यहाँ भोजन का संकट गहरा सकता है। इसलिए प्रशासन को वैकल्पिक मार्ग बनाने के साथ हेली के जरिए मदद पहुँचानी होगी।