विनोद नौटियाल / ऊखीमठ दस्तक पहाड न्यूज। । तुंगनाथ घाटी उषाड़ा गांव में 32 वर्षों बाद आयोजित पाण्डव नृत्य के 18 वें दिन से पाण्डव लीला का शुभारंभ भी हो गया है। पहले दिन शिशुपाल वध का मंचन किया गया। पाण्डवों का आशीर्वाद लेने के लिए ग्रामीण सामूहिक रूप में ढोल-दमांऊ के साथ उषाड़ा गांव पहुंच रहे हैं।

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पाण्डव लीला शुभारंभ के अवसर पर महिला मोर्चा की प्रदेश अध्यक्ष एवं पूर्व विधायक श्रीमती आशा नौटियाल ने कहा कि अपनी सांस्कृतिक विरासत को आगे बढ़ाने के लिए उषाड़ा गांव का युवा महत्त्वपूर्ण भूमिका निभा रहा हैं जो कि समाज के लिए एक प्रेरणादाई भी है। पूर्व कनिष्ठ प्रमुख दर्शनी पंवार ने कहा कि ऐसे आयोजनों से गांवों में रौनक के साथ उत्सव का माहौल बना हुआ है।ग्राम प्रधान कुंवर सिंह बज्वाल, पांडव नृत्य समिति के अध्यक्ष महावीर सिंह बज्वाल,वन पंचायत सरपंच देवेन्द्र सिंह बज्वाल एवं पाण्डव लीला के अध्यक्ष प्रदीप बज्वाल ने सभी अतिथियों का स्वागत करते हुए ग्रामीणों से मिल रहे सहयोग के लिए धन्यवाद ज्ञापित किया। पाण्डव नृत्य में पाण्डवों का आश्रीवाद लेने के लिए सारी,दैड़ा,काण्डा के ग्रामीण फूल मालाओं के साथ ढोल-दमाऊं की थाप पर उषाड़ा गांव पहुंचे। 6 दिसंबर को दुर्योधन वध के साथ पाण्डव नृत्य का समापन होगा। इस मौके पर वरिष्ठ पत्रकार रमेश नौटियाल, जूनियर शिक्षक संगठन के जिलाध्यक्ष शिव सिंह पंवार, देखरेख समिति सरपंच राजेन्द्र सिंह बज्वाल, कोषाध्यक्ष भरत सिंह बज्वाल, महिला मंगल दल अध्यक्ष सुलोचना देवी, नव युवक मंगल दल अध्यक्ष बृज मोहन बजवाल, चन्द्र मोहन बजवाल, दिनेश बजवाल, जसवीर बज्वाल, प्रतिपाल बजवाल, आनन्द बज्वाल, देवेन्द्र बज्वाल, महिपाल बज्वाल,दीवान सिंह नेगी, रमेश बज्वाल आदि मौजूद थे।