शासन की चेतावनियों के बीच शिक्षक संघ का आंदोलन और प्रखर, बोले, शिक्षक भयभीत नहीं होंगे
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20/08/20255:47 pm
दस्तक पहाड न्यूज अगस्त्यमुनि।।
राजकीय शिक्षक संघ रुद्रप्रयाग द्वारा आहूत चॉक डाउन आंदोलन शिक्षकों के व्यापक सहयोग से लगातार सफल होता जा रहा है। संघ का कहना है कि शासन और विभाग आंदोलन को कमजोर करने के लिए कार्रवाई की धमकियों का सहारा ले रहा है, लेकिन शिक्षक भयभीत नहीं होंगे और पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार आंदोलन जारी रहेगा। जिलाध्यक्ष आलोक रौथाण और जिलामंत्री शंकर भट्ट ने स्पष्ट किया कि सरकार की ओर से सचिव शिक्षा द्वारा महानिदेशक विद्यालय शिक्षा को भेजा गया पत्र आंदोलन को समाप्त करने के दबाव की ओर इशारा करता है। लेकिन संघ अपने सभी सदस्यों के हितों की सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है और किसी भी प्रकार की कार्रवाई का डटकर सामना करेगा।
संघ पदाधिकारियों ने शिक्षकों से अपील की कि वेतन रोकने, सर्विस ब्रेक या प्रतिकूल प्रविष्टि जैसी धमकियों से घबराने की आवश्यकता नहीं है। यदि कार्रवाई होती भी है तो वह प्रदेश के 20–25 हजार शिक्षकों पर एक साथ होगी, जो व्यावहारिक रूप से संभव नहीं दिखता।संघ ने कहा कि बड़े लक्ष्य के लिए संघर्ष के रास्ते पर आने वाली परेशानियां और बलिदान स्वीकार्य हैं। इसलिए संगठन पर विश्वास बनाए रखें और आंदोलन को और मजबूती प्रदान करें।
शासन की चेतावनियों के बीच शिक्षक संघ का आंदोलन और प्रखर, बोले, शिक्षक भयभीत नहीं होंगे
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राजकीय शिक्षक संघ रुद्रप्रयाग द्वारा आहूत चॉक डाउन आंदोलन शिक्षकों के व्यापक सहयोग से लगातार सफल होता जा रहा है। संघ का कहना है कि शासन और विभाग आंदोलन
को कमजोर करने के लिए कार्रवाई की धमकियों का सहारा ले रहा है, लेकिन शिक्षक भयभीत नहीं होंगे और पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार आंदोलन जारी रहेगा।
जिलाध्यक्ष आलोक रौथाण और जिलामंत्री शंकर भट्ट ने स्पष्ट किया कि सरकार की ओर से सचिव शिक्षा द्वारा महानिदेशक विद्यालय शिक्षा को भेजा गया पत्र आंदोलन को
समाप्त करने के दबाव की ओर इशारा करता है। लेकिन संघ अपने सभी सदस्यों के हितों की सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है और किसी भी प्रकार की कार्रवाई का डटकर सामना
करेगा।
संघ पदाधिकारियों ने शिक्षकों से अपील की कि वेतन रोकने, सर्विस ब्रेक या प्रतिकूल प्रविष्टि जैसी धमकियों से घबराने की आवश्यकता नहीं है। यदि कार्रवाई
होती भी है तो वह प्रदेश के 20–25 हजार शिक्षकों पर एक साथ होगी, जो व्यावहारिक रूप से संभव नहीं दिखता।संघ ने कहा कि बड़े लक्ष्य के लिए संघर्ष के रास्ते पर आने
वाली परेशानियां और बलिदान स्वीकार्य हैं। इसलिए संगठन पर विश्वास बनाए रखें और आंदोलन को और मजबूती प्रदान करें।